tag:blogger.com,1999:blog-4603771006660912215.post4291997153061640680..comments2023-12-24T13:18:47.467+05:30Comments on भारत के भावी प्रधानमंत्री की जबानी: एक बार फ़िर आ जाओ (गाँधी जी पर एक गीत)चंदन कुमार मिश्रhttp://www.blogger.com/profile/17165389929626807075noreply@blogger.comBlogger8125tag:blogger.com,1999:blog-4603771006660912215.post-51757831592388373572011-10-09T22:33:34.896+05:302011-10-09T22:33:34.896+05:30Bahut aachaBahut aachaSujit K. Jhahttps://www.blogger.com/profile/06471723179715558736noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4603771006660912215.post-32122619546424021922011-10-06T15:07:29.807+05:302011-10-06T15:07:29.807+05:30bahut achhi jankari. aapne bahut achha likha hai. ...bahut achhi jankari. aapne bahut achha likha hai. vijaydashmi mangalmay ho.हास्य-व्यंग्य का रंग गोपाल तिवारी के संगhttps://www.blogger.com/profile/11665530097513996920noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4603771006660912215.post-21603982836872248682011-10-06T08:59:04.886+05:302011-10-06T08:59:04.886+05:30भई गीत तो बढ़िया लिखा है.
व्यक्ति की मान्यताएँ बद...भई गीत तो बढ़िया लिखा है. <br />व्यक्ति की मान्यताएँ बदलती रहती हैं उन विचारों के साथ जो उसे समय-समय पर प्राप्त होते हैं और जिन्हें उसकी बुद्धि मानती रहती है.Bharat Bhushanhttps://www.blogger.com/profile/10407764714563263985noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4603771006660912215.post-25694702990378626822011-10-03T18:50:04.982+05:302011-10-03T18:50:04.982+05:30बढ़िया प्रस्तुति है....
सादर...बढ़िया प्रस्तुति है....<br />सादर...S.M.HABIB (Sanjay Mishra 'Habib')https://www.blogger.com/profile/10992209593666997359noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4603771006660912215.post-44129925470319773832011-10-03T14:13:47.182+05:302011-10-03T14:13:47.182+05:30अच्छे उदगार समाहित किए है यह पोस्ट .आभार .अच्छे उदगार समाहित किए है यह पोस्ट .आभार .virendra sharmahttps://www.blogger.com/profile/02192395730821008281noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4603771006660912215.post-43458231467227562752011-10-02T22:34:21.445+05:302011-10-02T22:34:21.445+05:30राहुल सर का गीत तो बहुत अच्छा है .
मैंने अपना विचा...राहुल सर का गीत तो बहुत अच्छा है .<br />मैंने अपना विचार पहले पोस्ट किया , <br />फिर लगा कि आप ने भी कुछ लिखा होगा .<br />चेक किया तो सही निकला मेरा सोचना ,<br />कविता वाकई पसंद आने वाली हैDr. Braj Kishorhttps://www.blogger.com/profile/06982842671013664280noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4603771006660912215.post-76962221097074140972011-10-02T21:44:17.700+05:302011-10-02T21:44:17.700+05:30हमें तो यही गीत याद आता है-
आज है दो अक्टूबर का ...हमें तो यही गीत याद आता है- <br />आज है दो अक्टूबर का दिन<br />आज का दिन है बड़ा महान<br />आज के दिन दो फूल खिले थे,<br />जिनसे महका हिन्दुस्तान<br />एक का नारा अमन एक का<br />जै जवान जै किसान<br />.Rahul Singhhttps://www.blogger.com/profile/16364670995288781667noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4603771006660912215.post-26124654357166879242011-10-02T12:11:34.374+05:302011-10-02T12:11:34.374+05:30गांधी जी का विश्वास अहिंसा की नीति में था। वे एक अ...गांधी जी का विश्वास अहिंसा की नीति में था। वे एक अहिंसक समाज की स्थापना के पक्षधर थे। एक ऐसा समाज जहां किसी भी व्यक्ति का शोषण न हो। इस तरह से स्वदेशी की भावना का भी विकास होता। यह भावना विदेशी चीज़ों के इस्तेमाल से लोगों को रोकती। ग्रामीण लोगों को रोज़गार के पर्याप्त अवसर मिलते। अंततोगत्वा वे न्यासीकरण के सिद्धांत को अमल में लाना चाहते थे। यानी भूमि का स्वामित्व सामूहिक होता। लोग मित्रवत रहते क्योंकि यह समाज अहिंसक समाज होता। ऐसा समाज आधुनिक अवधारणा और तौर तरीकों के रूप में नहीं था।मनोज कुमारhttps://www.blogger.com/profile/08566976083330111264noreply@blogger.com